E-Paperhttps://champarankesari.com/wp-content/uploads/2024/01/jjujuu.gifकानून

सड़क पर नियम तोड़ने वाले 578 चालकों का पटना में लाइसेंस निलंबित।

ट्रैफिक पुलिस ने कुल 988 वाहन मालिकों का ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) रद्द करने का प्रस्ताव भेजा है।

– ट्रैफिक पुलिस से प्रापत आंकड़ों के आधार पर परिवहन विभाग ने की कार्रवाई

चंपारण केशरी,दीपांकर कुमार द्वारा पोस्टेड /पटना।राजधानी पटना में ट्रैफिक नियमों की अवहेलना करके वाहन चलाने वालों पर सख्त कार्रवाई शुरू हो गई है। ट्रैफिक पुलिस की सख्त चौकसी का ही नतीजा है कि इस वर्ष जनवरी से जून तक ट्रैफिक के नियमों को दरकिनार कर बेतरतीब तरीके से वाहन चलाने वालों पर लगातार कार्रवाई हो रही है। जिला परिवहन कार्यालय (डीटीओ) से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, इस वर्ष जनवरी से जून के बीच ट्रैफिक पुलिस ने कुल 988 वाहन मालिकों का ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) रद्द करने का प्रस्ताव भेजा है। इनमें से 578 वाहन मालिकों का डीएल निलंबित करते हुए शोकॉज जारी किया गया है। वहीं, डीटीओ कार्यालय की ओर से लगभग 900 वाहनों को चिन्हित करते हुए उनका निबंधन रद्द करने से पहले शो-कॉज किया गया है। इन वाहन मालिकों से जवाब आने के बाद इनकी समीक्षा करके कार्रवाई की जाएगी। इन वाहन मालिकों के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर जानकारी भेजी जा रही है।

कब होती है डीएल निलंबन की कार्रवाई

डीटीओ से मिली जानकारी के आधार पर बार-बार ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने या जांच के दौरान वाहन के कागजात और डीएल सही ना पाए जाने पर निलंबन की कार्रवाई होती है। यदि जांच के दौरान डीएल पहले से ही निलंबित पाया जाता है, तो ट्रैफिक पुलिस वाहन मालिक पर पांच हजार रुपये का जुर्माना लगाती है। ड्राइविंग लाइसेंस को न्यूनतम तीन से छह महीने के लिए निलंबित किया जा सकता है।

पटना डीटीओ उपेन्द्र कुमार पाल ने कहा कि जिले में अधिकतर युवा लापारवाही से गाड़ी चलाते हैं, जिससे दुर्घटनाओं की आशंका बढ़ जाती है। डीटीओ ने वाहन मालिकों को चेतावनी देते हुए कहा कि यदि वे यातायात नियमों का उल्लंघन करते हुए पाए जाएंगे तो उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इसमें डीएल निलंबन और निबंधन रद्द करने जैसी कार्रवाई शामिल हो सकती है।

पटना डीटीओ से छह महीने में 30 डीएल रद्द

बीते छह महीने में लाइसेंसिंग प्राधिकरण ने 30 से अधिक वाहन मालिकों के डीएल रद्द करने की कार्रवाई को मंजूरी दी है। दरअसल, डीएल निलंबित या रद्द करने से पहले लाइसेंसिंग प्राधिकरण दोनों पक्षों को सुनता है, जिसके बाद अंतिम फैसला डीटीओ लेते हैं।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!